इंदौर को केंद्र सरकार द्वारा रामसर कन्वेंशन के तहत प्रतिष्ठित वेटलैंड सिटी मान्यता के लिए नामांकित किया गया है। केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इसकी जानकारी दी है। यह पहल शहरों को अंतरराष्ट्रीय पहचान और सकारात्मक ब्रांडिंग का अवसर प्रदान करती है।

2015 में शुरू की गई यह मान्यता उन शहरों को दी जाती है जो अपने वेटलैंड्स के संरक्षण और शहरी विकास में महत्वपूर्ण योगदान देते हैं। इंदौर के अलावा राजस्थान के उदयपुर को भी इसके लिए चुना गया है, जबकि भोपाल का चयन इस श्रेणी में नहीं हुआ है। गौरतलब है कि दुनिया भर के 31 शहर वेटलैंड सिटी का स्टेटस पाने की इस प्रतियोगिता में शामिल हैं।

इंदौर की 2 वेटलैंड, सिरपुर तालाब और यशवंत सागर को पहले ही रामसर साइट घोषित किया जा चुका है। शहर में झील संरक्षण, पर्यावरण सुधार और पक्षी आवास के लिए विशेष प्रयास किए जा रहे हैं। वहीं सिरपुर तालाब को एक बर्ड सेंचुअरी के रूप में विकसित किया जा रहा है। हालांकि इंदौर का सिरपुर तालाब उसके जल की गिरती गुणवत्ता, प्रवासी पक्षियों की घटती संख्या, और वेटलैंड नियमों के उल्लंघन को लेकर चर्चा में रहा है। 

पिछले माह ही एनजीटी (राष्ट्रिय हरित न्यायाधिकरण) का सिरपुर तालाब के पास हुए अवैध निर्माण को लेकर फैसला आया था, जिसमें जिम्मेदार अधिकारियों पर कार्रवाई की गई थी। अब वेटलैंड सिटी बनने के बाद इंदौर की रामसर साइट्स और अन्य वेटलैंड की स्थिति कितनी सुधरती है, यह आने वाले समय में ही स्पष्ट हो सकेगा।  

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Journalist, focused on environmental reporting, exploring the intersections of wildlife, ecology, and social justice. Passionate about highlighting the environmental impacts on marginalized communities, including women, tribal groups, the economically vulnerable, and LGBTQ+ individuals.

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